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शुक्रवार, 20 जुलाई 2012

गुवाहाटी में पत्रकार गिरफ्तार..वाह रे पत्रकार ...


गुवाहाटी में पत्रकार गिरफ्तार..वाह रे पत्रकार ...

आखिर जो होना चाहिए था वो हो ही गया .नवभारत टाइम्स की
वेबसाईट पर यह खबर पढ़ी तो दिल को  तसल्ली हुई कि देश में अभी  भी कानून व्यवस्था
नाम की कोई चीज है .आप भी पढ़ें यह खबर - 

गुवाहाटी में लड़की के साथ छेड़छाड़ के मामले में पत्रकार गिरफ्तार

गुवाहाटी।। यहां 20 वर्षीय लड़की के साथ छेड़छाड़ का विडियो रेकॉर्ड करने वाले न्यूज लाइव चैनल के रिपोर्टर गौरव ज्योति निओग को लड़की पर हमले के लिए लड़कों को उकसाने के आरोप में शुक्रवार को गिरफ्तार कर लिया गया। निओग की गिरफ्तारी ऐसे समय पर की गई है जब एक दिन पहले ही गुवाहाटी हाई कोर्ट ने उसकी अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी थी। गुवाहाटी के नए एसएसपी आनंद प्रकाश तिवारी ने कहा, 'निओग को गिरफ्तार कर लिया गया है और शनिवार को उसे अदालत के समक्ष पेश किया जाएगा।' निओग के साथ भांगगढ़ पुलिस स्टेशन में पूछताछ की जा रही है।  गौरतलब है कि टीम अन्ना के सदस्य अखिल गोगोई ने आरोप लगाया है कि निओग ने एक बार के बाहर लड़की के साथ छेड़छाड़ की साजिश रची थी। इससे पहले इसी सप्ताह निओग ने चैनल से इस्तीफा दे दिया था। निओग के बॉस और चैनल के प्रधान संपादक अतनु भुयान ने भी अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। 
निओग और उनके कैमरामैन ने इस पूरी घटना को कैमरे पर रेकॉर्ड किया था। विशेष जांच दल ने पहले ही विडियो फुटेज को फोरेंसिक जांच के लिए भेज दिया है।''
                                  पत्रकार कहलाने मात्र से कोई पत्रकार नहीं हो जाता .पत्रकारिता एक पावन कर्म है .पत्रकार समाज को दिशा प्रदान करता है उसे भ्रमित नहीं करता .इन छद्म पत्रकार महोदय से मैं इतना ही कहना चाहूंगी  -

जैसा किया दुष्कर्म उसका मिल गया प्रतिफल ;
छोड़ छद्म पत्रकारिता अब जेल को तू चल ,
होगा वहां अब तेरा जोश से सत्कार 
वाह रे पत्रकार ...वाह वाह रे पत्रकार .

मशहूर होने का तुझे शौक जबरदस्त ;
पी जेल का पानी अब रहना वहां मस्त ,
सब ओर यही चर्चा तू हुआ गिरफ्तार .
वाह रे पत्रकार ....

पत्रकार तुम नहीं तुम तो हो दलाल ;
कर रहे इस पेशे को बदनाम खुलेआम ,
सिर उठाकर चलने का तुमको न अधिकार .
वाह रे पत्रकार ...

तुमने किया जो कर्म उसे पाप कहते हैं ;
अस्मत लूटे किसी की चुप आप रहते हैं ,
अब लगने चाहियें तुम्हें जूते कई हज़ार .
वाह रे पत्रकार ....

आगे से कोई ऐसा कभी काम न करे ;
अंजाम तेरा देखकर थोडा तो सबक ले ,
सभ्य समाज का स्वप्न हो साकार .
वाह रे पत्रकार ...
                     शिखा कौशिक 
              [विचारों का चबूतरा ]



बुधवार, 18 जुलाई 2012

वाह रे पत्रकार ...वाह वाह रे पत्रकार !


वाह रे पत्रकार  ...वाह वाह रे पत्रकार  !


ये पराकाष्ठा है संवेदनहीनता की .गुवाहाटी  में एक ओर असामाजिक तत्व एक युवती की अस्मत तार तार करने में लगे थे और दूसरी ओर वहां उपस्थित एक स्थानीय टेलीविजन के पत्रकार महोदय इस हादसे की वीडियो बना रहे थे .गौरव ज्योति नियोग नाम के इस पत्रकार ने पूरी  मानवता  को शर्मसार  कर दिया है और आज की मीडिया को कटघरे में खड़ा कर दिया है .स्वयं कुछ करने का साहस नहीं था तो कम  से  कम पुलिस को ही सूचित कर देता .चैनल के एडिटर इन चीफ  का बयान  और भी  काबिल-ए-तारीफ  है .ये जनाब फरमाते हैं कि-''मैं अपने रिपोर्टर के साथ हूँ जिसने अपना काम किया है .''  भाई वाह !!रिपोर्टर होने से पहले � 5� दूसरे इन्सान पर   की जा रही  ज्यादती  को नहीं रोकता  वो  इन्सान कह लाने के काबिल नहीं .एक और धमाकेदार  काम किया है महिला  आयोग की टीम मेंबर  सुश्री  अल्का  लाम्बा ने .इन महोदया  ने उस पीड़ित  लड़की  की पहचान  सार्वजानिक कर दी .शाबाश !!ऐसे  ही करतब  दिखाते  रहे तो समाज में महिलाओं की स्थिति  बहुत मजबूत     होगी  .एक बार फिर से उन पत्रकार महोदय को सलाम  ....बस  ऐसे ही कर्म   करना   जब तुम्हारे  सगे  के साथ  ऐसा हो   .वाह रे पत्रकार ....वाह वाह रे पत्रकार .!!!
[dainik hindustan ]


सामने तेरे हुई अस्मत किसी की तार तार 
और तू करता रहा बस वीडियो तैयार  ,
वाह रे पत्रकार ...वाह वाह रे पत्रकार .

क्या जरूरी था वहां  ये फैसला न कर सका ;
इन्सान होकर दे ही दी इंसानियत को ही दगा ,
धिक्कारता है दिल  सभी का आज  तुझको बार बार .
वाह रे पत्रकार .....

रक्षा का देते आये हैं जिस देश में भाई वचन ;
इस तरह बेबस हुई खुलेआम हाय ये बहन ,
हैवानियत  का कर रहा 'यू ट्यूब ' पर प्रचार .
वाह रे पत्रकार .....
सनसनी के वास्ते वीडियो बना लिया  ;
दरिंदगी को रोकने को क्यों नहीं लोहा लिया ?
ज़मीर तेरा मर चुका कर ले ये स्वीकार 
वाह रे पत्रकार ....वाह वाह रे पत्रकार !

                        शिखा  कौशिक